03 सितंबर 2010

इस जिंदगी की दौड़ में ..........जन्मदिन विशेष

 आदरणीय गुरुजनों और मित्रो
मेरे जन्मदिन के मौके पर आप सभी अपना प्रेम और आशीर्वाद प्रदान करे
इस अवसर पर  एक छोटी सी कविता पेश है ------

 इस जिंदगी की दौड़ में ,
तू सबको पीछे छोड़ दे ,
तू अपनी मंजिल पा ले 
रस्ते खुद बना ले 
तू निकल सबसे आगे ,
सभी तेरे पीछे - पीछे
लेकिन ईमानदारी मत छोड़ना,
किसी का दिल मत तोड़ना |